Thu. Mar 13th, 2025

अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की को सुनाई खरी-खोटी, बोले तीसरे विश्व युद्ध का जुआ खेल रहे जेलेन्सकी 


अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प, उपराराष्ट्रपति जेडी वेंस और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की के बीच व्हाइट हाउस में तीखी बहस हो गई। ट्रम्प ने कई बार जेलेंस्की को फटकार भी लगाई। उन्होंने जेलेंस्की से कहा कि वो तीसरा विश्वयुद्ध कराने का जुआ खेल रहे हैं।

मौजूद मीडियकर्मी भी रह गए दंग

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप, उपराष्ट्रपति जेडी वेंस और दौरे पर आए यूक्रेनी राष्ट्रपति ज़ेलेंस्की के बीच ओवल ऑफिस में असाधारण झड़प को देखकर वहां मौजूद मीडियाकर्मी दंग रह गए। ज़ेलेंस्की मिनरल सौदे के लिए पहुंचे थे और ट्रंप के साथ हुई हाई वोल्टेज बातचीत के बाद बिना डील किए ही चले गए। इस पूरे एपिसोड के बाद ट्रम्प ने कहा कि यूक्रेन के नेता रूस के साथ शांति वार्ता के लिए तैयार नहीं थे। यह बैठक तब हुई जब ट्रम्प ने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ फोन पर बातचीत की और उनके प्रशासन ने यूक्रेन को नाटो में शामिल नहीं करने की मास्को की इच्छा स्पष्ट कर दी। 

 

अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की को सुनाई खरी-खोटी, बोले तीसरे विश्व युद्ध का जुआ खेल रहे जेलेन्सकी 
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रम्प ने यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की को सुनाई खरी-खोटी, बोले तीसरे विश्व युद्ध का जुआ खेल रहे जेलेन्सकी 

जेलेसकी ने कहा रूस के प्रति हमारा रवैया एक पल में नहीं बदल सकता है 


यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने कहा कि उनका देश तब तक रूस के साथ शांति वार्ता में शामिल नहीं होगा जब तक उसे ये गारंटी नहीं मिल जाती कि उनके देश पर हमले नहीं होंगे। जेलेंस्की ने कहा कि अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ शुक्रवार को बैठक के दौरान हुई कहासुनी दोनों पक्षों के लिए अच्छी नहीं है।  ट्रंप को यह समझने की जरूरत है कि यूक्रेन रूस के प्रति अपने रवैये को एक पल में नहीं बदल सकता।

ट्रम्प ने लिखाजेलेंस्की तभी वापस आएं, जब वो शांति के लिए तैयार हों

ट्रम्प ने सोशल मीडिया पर लिखा, ‘आज व्हाइट हाउस में हमारी बहुत अहम बैठक हुई। हमने ऐसी बातें जानीं, जो दबाव भरी चर्चा के बिना कभी समझ में नहीं आतीं। कितनी हैरानी की बात है कि भावनाओं के बीच क्याक्या सामने आता है। मुझे यह समझ आया है कि अगर अमेरिका शांति लाने की कोशिश करता रहा, तो राष्ट्रपति जेलेंस्की शांति के लिए तैयार नहीं होंगे। क्योंकि उन्हें लगता है कि हमारी भागीदारी उन्हें बातचीत में बड़ा फायदा देती है। मैं कोई फायदा नहीं चाहता, मैं शांति चाहता हूं। जेलेंस्की ने अमेरिका के सम्मानित ओवल ऑफिस में ही अमेरिका का अपमान किया। वे तब वापस आ सकते हैं, जब वास्तव में शांति के लिए तैयार हों।


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By Pranav Gavhale

मेरा नाम प्रणव गव्हाळे है. मे यह न्यूज नेटवर्क वेबसाईट का 50% का partnerships holder हू. मे काही समय से Digital marketing कर रहा हू ओर इसमे मुझे तीन साल का अनुभव है. ओर मे यह वेबसाईट पर ब्लॉग राइटिंग का काम भी करता हू.

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